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विज्ञान वरदान अथवा अभिशाप

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Written by Priya Patel

February 28, 2021

विज्ञान वरदान अथवा अभिशाप

विज्ञान वरदान अथवा अभिशाप

विज्ञान वरदान अथवा अभिशाप पर निबंध

प्रस्तावना – ऐसे जीवन की कल्पना अत्यधिक कठिन है जब हम वैज्ञानिक आविष्कारों तथा खोजो का प्रयोग किए बिना अपने दैनिक जीवन को बिता सकें क्योंकि वें हमारे जीवन का अभिन्न अंग बन गई है। वैज्ञानिक प्रगति के सहारे ही मनुष्य चंद्रमा तक पहुंच गया है। विज्ञान के गर्भ में अनेकों नवीनताएं पड़ी हैं, जिनकी खोज करना अभी तक शेष हैं।
विज्ञान वरदान अथवा वफादार सेवक के रूप में – विज्ञान की उपयोगी खोजो तथा अविष्कारों को देखकर यह सरलता से कहां जा सकता है कि विज्ञान एक ऐसा वरदान है जिसने मानव जीवन को अधिक सुखी, सुखदायक और प्रगतिशील बना दिया है। इसके साथ-साथ विज्ञान हमारा अच्छा तथा वफादार सेवक सिद्ध हो सकता है, यदि हम उसका प्रयोग बुद्धिमानी तथा सावधानी से करें। ऐसी स्थिति में विज्ञान हमारा आज्ञाकारी सेवक होगा।

विज्ञान के चमत्कार – विज्ञान ने हमको अनेकों चमत्कार प्रदान किए हैं। जिन्होंने हमारे जीवन को अधिक सुखदायक तथा सुखी बना दिया है। विद्युत विज्ञान का सर्वोत्तम, अद्भुत चमत्कार है। यह हमारे दैनिक घरेलू जीवन में अधिक उपयोगी है तथा मिलों, कारखाना एवं औद्योगिक क्षेत्रों में इसका अधिक उपयोग किया जाता है। इसने दूरी को समाप्त कर दिया है। मानव जीवन अधिक सुरक्षित दीर्घ जीवी बन गया है। अब हमको घातक रोगों से मुक्ति मिल गयी हैं।
यातायात एवं संचार – वैज्ञानिक प्रगति की सबसे बड़ी उपयोगिता तथा देन यातायात तथा संचार के क्षेत्र में दृष्टिगोचर हो रही है। विज्ञान ने दूरी को कम कर दिया है तथा लंबी यात्राएं करने में बहुत कम समय लगता है। भूमि के ऊपर हम कारों, बसों तथा रेलों से यात्रा करते हैं। ट्रक तथा मालगाड़ियां भारी- भारी सामान को एक स्थान से दूसरे स्थान तक ले जाते हैं। हम आजकल पक्षियों के समान वायुयान में उड़ान भर सकते हैं।पानी के जहाजों से समुद्री यात्रा सम्भव हो गयी है। अन्तरिक्ष ‌अध्ययन हेतु ‌हमने राकेट एवं अंतरिक्ष यान भी बना लिये हैं । संचार के क्षेत्र में टेलीफोन, टेलीग्राम, दूरदर्शन, रेडियो, वायरलेंस विज्ञान के आधुनिक अद्भुत अविष्कार हैं।
चिकित्सा विज्ञान – चिकित्सा विज्ञान के क्षेत्रों में हुई क्रांतिकारी प्रगति ने मानव जीवन को और अधिक सुरक्षित सुखी तथा दिर्घजीवी बना दिया है। भयंकर तथा घातक रोगों से रोगियों की रक्षा करने हेतु नए-नए औषधियां, प्रभावपूर्ण इंजेक्शन तथा सुक्ष्म शल्य-चिकित्सा की सुविधाएं आधुनिक काल में उपलब्ध है। एक्सरे तथा अल्ट्रासाउंड के द्वारा आंतरिक दोषों का पता लग जाता है ताकि उत्तम इलाज हो सके। प्लास्टिक शल्य-चिकित्सा तथा ह्रदय प्रत्यारोपण चिकित्सा विज्ञान की नई उपलब्धियां हैं।

कृषि एवं उद्योग – कृषि के क्षेत्र में विज्ञान, मशीनें खेती, ट्रैक्टर द्वारा कृषि- कार्य तथा रासायनिक उर्वरकों के रूप में वरदान सिद्ध हुआ है। अब कृत्रिम वर्षा कराना भी सम्भव हो गया है। कृषि के क्षेत्रों में स्त्री, पुरुषों के द्वारा किये जाने वाला कार्य अब मशीनों से किया जाता है। आजकल खेतों को जोतने, बीज बोने तथा फसल को काटने का कार्य भी मशीनों की सहायता से किया जाता है।
मनोरंजन – रेडियो, सिनेमा तथा दूरदर्शन जो आधुनिक काल में मनोरंजन के मुख्य साधन है, वैज्ञानिक आविष्कार है। रेडियो हमको संगीत, समाचार तथा अन्य कार्यक्रम देता है। सिनेमा जनसाधारण को अपार आनंद तथा मनोरंजन प्रदान करता है। दूरदर्शन के द्वारा हम किसी गीत गायक, समाचार- वाचक तथा खिलाड़ी के चेहरे को भी देख सकते हैं। क्रिकेट, हाकी, बैटमिंटन आदि के मैच दूरदर्शन पर देखने में अधिक आनंददायक एवं मनोरंजक लगते हैं।

विज्ञान अभिशाप – विज्ञान उस समय एक गंभीर अभिशाप का रूप ग्रहण कर लेता है, जब युद्ध काल में वह मानव जाति एवं संपत्ति का अपार विनाश करता है। जहरीली गैसों, घातक बमो तथा विनाशकारी टैंकों का आविष्कार तथा युद्ध में प्रयोग कहीं अधिक भयंकर तथा विनाशकारी बन गया है। परमाणु बमों के अविष्कार के परिणाम स्वरूप मानव जाति पूर्णरूप से मृत्यु के मुख में पहुंच गयी है। आधुनिक युद्ध मृत्यु तथा विनाश के प्रत्यक्ष एवं खतरनाक उपाय बन गए हैं। इस प्रकार विज्ञान ने एक क्रूर मालिक का रूप ग्रहण कर लिया है क्योंकि हमारा जीवन आजकल उन वैज्ञानिकों के हाथों में आ गया है जो युद्ध एवं विनाश के युद्धों का अविष्कार एवं निर्माण करते हैं यही वर्तमान काल की सबसे गंभीर समस्या है। वैज्ञानिक उपलब्धियों की बदौलत सबसे बड़ा अभिशाप हमारे वातावरण का प्रदूषण होना है। जो दिन- प्रतिदिन बढ़ता ही जा रहा है

उपसंहार – यह सच्चाई है कि विज्ञान एक उपयोगी सेवक तथा
क्रुर मालिक है। इसका वरदान हमारे लिए अधिक उपयोगी है परंतु युद्ध काल में यह बहुत ही हानिकारक तथा विनाशकारी बन जाता है। वास्तव में विज्ञान का प्रयोग मानव कल्याण तथा विश्व शांति के लिए किया जाना चाहिए। वर्तमान में यही समय की पुकार है।

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